(Painting by Abhyudai Tiwari)
**दिवाली की हार्दिक शुभकामनायें**
गहन अँधेरा आज छा रहा,
चलो सभी एक दीप जलायें।
कम न रोशनी घर की होगी,
ग़र प्रकाश कुटियों में लायें।
चलो सभी एक दीप जलायें।
कम न रोशनी घर की होगी,
ग़र प्रकाश कुटियों में लायें।
हर चहरे पर खुशी नहीं हो,
तो खुशियाँ हैं सदा अधूरी।
तो खुशियाँ हैं सदा अधूरी।
एक कोना भी जो अँधियारा,
दीपावली न हो पाये पूरी।
दीपावली न हो पाये पूरी।
भूखे पेट, नग्न तन जो हैं,
सामिल करो उन्हें खुशियों में।
कहीं उदासी रहे न बाक़ी,
कुछ खुशियाँ दे दो कुटियों में।
सामिल करो उन्हें खुशियों में।
कहीं उदासी रहे न बाक़ी,
कुछ खुशियाँ दे दो कुटियों में।
जीवन में सबके हों खुशियाँ,
नहीं अभाव किसी घर में हो।
करो प्रयास सभी मिलजुल के,
सुख, सम्रद्धि हर घर में हो।
नहीं अभाव किसी घर में हो।
करो प्रयास सभी मिलजुल के,
सुख, सम्रद्धि हर घर में हो।
फुलझड़ियों सी हो मुस्कानें,
खुशियाँ हर जीवन में आयें।
खुशियाँ हर जीवन में आयें।
...कैलाश शर्मा